
BHU Update: बीएचयू में चल रहा प्रदर्शन अब खींचता चला जा रहा है। एक ओर जहां अश्लीलता पीड़ित छात्रा को न्याय दिलाने के लिए छात्र संगठन एकजुट हैं, वहीं दूसरी ओर बीएचयू प्रशासन के आईआईटी केंपस के बाहर बाउंड्री वॉल बनाने को लेकर के भी जमकर विरोध हो रहा है। इसी बीच महामना की बगिया बनारस हिंदी यूनिवर्सिटी (BHU) में हिंदुत्व विरोधी और आजादी के नारे लगने की खबर है।
इस मामले में पुलिस ने 17 नामजद समेत अन्य अज्ञात लोगों पर एफआईआर दर्ज किया है। बताया गया कि आरोपियों ने आजादी के नारों का विरोध करने पहुंचे छात्रों पर हमला भी किया। इस हमले में कुछ छात्राओं को चोटें आई हैं, उनका पैर फ्रैक्चर हुआ है। पुलिस इस पूरे मामले की जांच कर रही है।
मामला रविवार दोपहर का है, जिसमें वाराणसी के लंका थाने में सोमवार को FIR दर्ज हुआ है। शिकायत एक छात्रा के ओर से दर्ज करवाई गई है। पीड़िता का कहना है कि पिछले दो दिनों से यूनिवर्सिटी के छात्र बीएचयू कैंपस में धरना दे रहे थे। इस दौरान पीड़िता यूनिवर्सिटी की एक छात्रा व दो अन्य छात्रों के साथ धरना स्थल पर पहुंची। जहां सभी को यूनिवर्सिटी के छात्रों के बजाय बाहरी लोग भी दिखाई पड़े।
आरोप है कि यह लोग ‘हिंदुत्व की खबर खुदेगी’ और ‘आजादी’ के नारे लगा रहे थे। इतना ही नहीं, एक वायरल वीडियो में वामपंथी छात्राएं पुलिस के आगे ‘मोदी योगी मुर्दाबाद’ और ‘बीजेपी मुर्दाबाद’ के नारे लगा रही थीं।
BHU Update: महिला सुरक्षाकर्मियों का भी गला दबाया
पीड़िता ने अपनी शिकायत में बताया है कि बीएचयू कैंपस में लग रहे आपत्तिजनक नारों का छात्रों के हित से कोई वास्ता न होने के कारण उन्होंने इस नारेबाजी का विरोध किया। विरोध से नाराज होकर वहां मौजूद कई लोगों ने उनके साथ मारपीट किया और उसके साथियों पर हमला बोल दिया। पीड़िता ने हमलावरों में आकांक्षा शर्मा उर्फ आजाद, चन्दा यादव, रोशन पांडे, इप्शिता, राजेश कुमार राणा, रोहित, राजीव नयन, सुमन आनंद, अक्षय, आदर्श, ऋषि तिवारी, मानव उमेश, अमन सिंह, अमित, अनुपम, विश्वजीत और अनुरति को नामजद करते हुए 15 अज्ञात लोगों के होने का दावा किया। एबीवीपी ने वीडियो शेयर करके वामपंथी छात्राओं द्वारा महिला सुरक्षा कर्मी का गला दबाने का भी आरोप लगाया है।
पीड़िता ने पुलिस से की शिकायत में बताया कि हमलावरों की भीड़ ने उन्हें और उनके साथियों को घसीट कर मारा। पीड़िता के कपड़ों को भी खींचा गया। उनके साथ मौजूद एक दलित समुदाय के युवक को जाति सूचक गालियां भी दी गई। भीड़ में से कई लोग पीड़ितों को देख लेने की भी धमकी देते रहे। हमले में पीड़िता व उनके साथियों के हाथ पैर में फैक्चर होने के साथ आंख के पास घाव हो गया। नामजद आकांक्षा आजाद, चंदा यादव, इप्शिता और रिद्धि के पहले भी आपराधिक मामलों में शामिल रहने की जानकारी देते हुए पीड़िता ने खुद को बेहद डरा हुआ बताया है।
काशी हिन्दू विश्वविद्यालय में आम विद्यार्थियों के विरोध प्रदर्शन में AISA एवं BSM के माओवादी तत्वों द्वारा हिंदुत्व की कब्र खुदेगी के नारे का विरोध करने पर ABVP की छात्रा कार्यकताओं को घायल किया।#RedTerrorDownDown#BHUAgainstPartition pic.twitter.com/fu0s4DQkKn
— ABVP KASHI PRANT (@abvpkashiprant) November 5, 2023
पुलिस को दी तहरीर में सभी आरोपियों पर कड़ी कार्रवाई की मांग की गई है। इस शिकायत पर पुलिस ने पीड़िता द्वारा बताए गए सभी 17 आरोपियों को नामजद किया है। बाकी अन्य हमलावरों को अज्ञात में रखकर मामले की विवेचना की जा रही है। इन सभी हमलावरों पर आईपीसी की धारा 147, 323, 504, 506, 505 (दो) और 354 (ख) के साथ एससी/एसटी एक्ट में भी मुकदमा दर्ज किया गया है। पुलिस इस पूरे मामले की जांच कर रही है। एक अन्य वीडियो में वामपंथी छात्राओं को महिला शिक्षिकाओं से अभद्रता करते हुए देखा और सुना जा सकता है।

इस मामले में एबीवीपी के पदाधिकारी अभय प्रताप ने बताया कि हमलावर छात्रों में कुछ NSUI और तमाम AISA के छात्र हैं। छात्रा आकांक्षा भगत सिंह मोर्चा (BCM) से बताई गई। अभय का दावा है कि इस संगठन पर नक्सलियों से रिश्तों की जांच खुफिया एजेंसियां कर रही हैं। बताया कि यदि मौके पर एबीवीपी से जुड़े लोग चारों पीड़ित छात्रों को बचाने न पहुंचे होते, तो उनकी मॉब लीचिंग में हत्या हो जाती।
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बनारस हिन्दू विश्वविद्यालय में छेड़छाड़ पीड़िता को न्याय की मांग को लेकर आंदोलनरत विद्यार्थियों पर वामपंथियों द्वारा कायरतापूर्ण हमला करना वामपंथियों की रक्तरंजित विचारधारा और विद्यार्थियों के मन में डर बिठाकर इस आंदोलन को कमजोर करने का षडयंत्र है।
— ABVP (@ABVPVoice) November 5, 2023
आखिर क्या कारण है कि बार-बार…
BHU Update: CAA और NRC हिंसा से भी जुड़ाव
एबीवीपी पदाधिकारी अभय ने बताया कि हमलावरों में प्रमुख चंदा यादव पहले जामिया मिलिया की छात्रा थी। वह वामपंथी छात्र संगठन AISA की राष्ट्रीय सचिव है। दावा है कि वह CAA/NRC हिंसा के दौरान सरकार के विरोध में और अराजकता फैलाने में भी काफी सक्रिय रही थी। इन हरकतों के चलते चंदा यादव पर FIR भी दर्ज हुआ था। जिसका कोर्ट में ट्रायल भी चलने वाला है। चंदा यादव का एक एनआरसी विरोध प्रदर्शनों के दौरान का फोटो भी सामने आया है। जब वह मंच पर हिजाब में दिख रही एक छात्रा के बगल खड़ी हो कर डफली बजा रही है।
एक अन्य आरोपित रोशन भी AISA से जुड़ा हुआ है। अभय प्रताप सिंह ने वाराणसी पुलिस पर भी आरोपितों के खिलाफ कार्रवाई में देरी करने का आरोप लगाया है। उन्होंने कहा कि ABVP के छात्रों की पिटाई के दौरान पुलिस बुलाई गई थी। दावा है कि इस दौरान नामजदों में से कुछ लोग हिरासत में भी लिए गए थे लेकिन पुलिस ने थोड़ी दूर जा कर उन्हें छोड़ दिया। अब FIR दर्ज होने के बाद ABVP पदाधिकारी ने उम्मीद जताई है कि आरोपितों को जल्द गिरफ्तार किया जाएगा।
हालाँकि आकांक्षा और चंदा यादव ने खुद पर लगे हमले के आरोपों से इंकार किया है। उन्होंने उलटे ABVP पर ही हमले का आरोप लगाया है।
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