छत्तीसगढ़। गरियाबंद जिले के भालू डिग्गी जंगल में सुरक्षा बलों और नक्सलियों के बीच जबरदस्त मुठभेड़ हुई, जिसमें जवानों ने 14 नक्सलियों को मार गिराया। सभी नक्सलियों के शव और उनके हथियार बरामद कर लिए गए हैं। यह मुठभेड़ रविवार रात से लेकर मंगलवार सुबह तक रुक-रुक कर चलती रही। मैनपुर थाना क्षेत्र में कुल्हाड़ी घाट इलाके में करीब 1000 जवानों ने 60 नक्सलियों को चारों ओर से घेर रखा है।
इस ऑपरेशन में कोबरा बटालियन का एक जवान घायल हुआ, जिसे एयरलिफ्ट कर रायपुर लाया गया। सोमवार को मुठभेड़ में पहले ही 2 नक्सलियों के मारे जाने की पुष्टि हो चुकी थी। गरियाबंद के एसपी निखिल राखेचा, ओडिशा के नुआपाड़ा एसपी राघवेंद्र गूंडाला, ओडिशा डीआईजी नक्सल ऑपरेशन अखिलेश्वर सिंह, और कोबरा कमांडेंट डीएस कथैत इस अभियान की निगरानी कर रहे हैं।
जॉइंट ऑपरेशन में नक्सलियों का बड़ा ठिकाना ढहा
छत्तीसगढ़ और ओडिशा पुलिस ने मिलकर इस ऑपरेशन को अंजाम दिया। 10 टीमों ने एक साथ कार्रवाई की, जिसमें 3 टीम ओडिशा से, 2 छत्तीसगढ़ पुलिस से, और 5 सीआरपीएफ की थीं। सर्च ऑपरेशन के दौरान नक्सलियों ने जवानों पर हमला किया, जिसके जवाब में फोर्स ने कड़ी कार्रवाई की।
मुठभेड़ के बाद वरिष्ठ अधिकारी मौके पर पहुंचे। सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए भाटीगढ़ स्टेडियम को अस्थायी छावनी में बदल दिया गया। इलाके में अतिरिक्त सुरक्षा बल तैनात किए गए, जबकि 3 आईईडी बम भी बरामद किए गए।
4 दिन पहले 18 नक्सलियों को मारा गया था
इससे पहले 16 जनवरी को छत्तीसगढ़-तेलंगाना बॉर्डर पर एक बड़ी मुठभेड़ में 18 नक्सली मारे गए थे। इस मुठभेड़ में सेंट्रल कमेटी मेंबर दामोदर भी मारा गया, जिस पर 50 लाख का इनाम था। मारे गए नक्सलियों में 5 महिलाएं भी शामिल थीं, जिन पर कुल 59 लाख का इनाम घोषित था।
सुरक्षा बलों ने इस ऑपरेशन में 12 शव बरामद किए थे, जबकि बाकी शव नक्सली अपने साथ ले गए।