वाराणसी। अपने विवादित बयानों के कारण चर्चा में रहने कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष अजय राय के बिगड़े सुर नजर आए हैं। वाराणसी में शुक्रवार को कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष अजय राय ने आरएसएस और संघ प्रमुख मोहन भागवत को लेकर ऐसा बयान दे डाला, जिसने राजनीतिक हलकों में हलचल मचा दी। पत्रकारों से बातचीत के दौरान उन्होंने कहा कि आरएसएस में नीचे से ऊपर तक रं#वों की फौज भरी है।
मोहन भागवत पर निशाना साधते हुए उन्होंने तंज कसा कि संघ प्रमुख पहले खुद शादी करें और फिर दिशा-निर्देश जारी करें कि आरएसएस के सदस्य भी शादी करें और बच्चे पैदा करें। उन्होंने यह भी कहा कि आरएसएस में महिलाओं की भागीदारी ही नहीं है और उनका सम्मान भी नहीं होता।
अजय राय के इस बयान को लेकर सत्ताधारी पार्टी भाजपा ने उन्हें घेरना शुरू कर दिया है। भाजपा नेताओं का कहना है कि कांग्रेस अध्यक्ष का यह आचरण उनकी मानसिकता को दर्शाता है। यही नहीं, भाजपा प्रवक्ताओं ने यह आरोप भी लगाया कि अजय राय तब चुप रहे जब कांग्रेस के मंच से प्रधानमंत्री को अपमानजनक शब्द कहे गए, और उन्होंने उसकी निंदा तक नहीं की।
भाजपा के क्षेत्रीय अध्यक्ष दिलीप पटेल ने कहा कि अपनी हार से मायूस होकर अजय राय ओछी हरकत पर उतर आए हैं। MLC हंसराज विश्वकर्मा ने कहा कि अजय राय अपना मानसिक संतुलन खो बैठे हैं।
दरअसल, अजय राय का विवादित बयानों से पुराना नाता रहा है। वे पहले भाजपा से विधायक रह चुके हैं, लेकिन बाद में कांग्रेस का दामन थाम लिया। उनके राजनीतिक सफर में उनके परिवार की त्रासदी भी अहम रही है। उनके बड़े भाई अवधेश राय की 1990 के दशक में माफिया मुख्तार अंसारी और उसके सहयोगियों ने सरेआम गोली मारकर हत्या कर दी थी। भाजपा सरकार के दौरान ही मुख्तार अंसारी को इस हत्याकांड में सजा सुनाई गई, लेकिन उस समय भी अजय राय ने इस पर कोई मुखर प्रतिक्रिया नहीं दी।
अजय राय कई बार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को लेकर भी विवादित टिप्पणियां कर चुके हैं। करीब तीन महीने पहले उन्होंने मोदी की पत्नी जसोदाबेन को लेकर टिप्पणी की थी कि “जो नरेंद्र मोदी अपनी पत्नी के सिंदूर की रक्षा नहीं कर पाए, वे ऑपरेशन सिंदूर की बात कर रहे हैं।” इससे पहले 4 मई 2025 को राफेल विमानों पर रक्षा मंत्री के नींबू-मिर्च चढ़ाने के कार्यक्रम को लेकर तंज कसा था कि “क्या राफेल नींबू-मिर्च उतारने के लिए आया है, और यह अपना काम कब करेगा?”
इतना ही नहीं, 18 अगस्त 2025 को बलिया में उन्होंने चुनाव आयोग पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि आयोग की वेबसाइट बंद कर प्रधानमंत्री मोदी को जिताया गया। उनका दावा था कि सात राउंड तक वे आगे चल रहे थे, लेकिन वेबसाइट बंद होने के बाद नतीजे अचानक मोदी के पक्ष में घोषित कर दिए गए। इसी तरह 19 दिसंबर 2024 को गोरखपुर में उन्होंने “जनेऊ दिखाकर खुद को 24 कैरेट ब्राह्मण” बताया था।
हाल ही में राजद और कांग्रेस नेताओं की उपस्थिति में मंच में प्रधानमंत्री को मां की गाली दी गई। जिस पर कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष के मुंह से चूं तक न निकला।
लगातार ऐसे बयानों के कारण अजय राय हमेशा सुर्खियों में रहते हैं। लेकिन सवाल यह है कि क्या इन विवादों से कांग्रेस को राजनीतिक लाभ मिलेगा, या फिर यह बयानबाज़ी उनकी पार्टी के लिए नई मुश्किलें खड़ी करेगी?