वाराणसी: ई-रिक्शा स्टैंड की आड़ में चल रहा था काला कारोबार, SIT की रेड में 63 लाख की प्रतिबंधित कोडीन कफ सिरप बरामद; सरगना फरार

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वाराणसी। कमिश्नरेट पुलिस ने नशे के सौदागरों के खिलाफ एक और बड़ी 'सर्जिकल स्ट्राइक' को अंजाम दिया है। रामनगर थाना क्षेत्र के सूजाबाद इलाके में स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम (SIT) ने एक बड़ी कार्रवाई करते हुए प्रतिबंधित नशीली दवाओं के एक बड़े जखीरे का भंडाफोड़ किया है। पुलिस ने यहां एक ई-रिक्शा चार्जिंग सेंटर की आड़ में चल रहे अवैध गोदाम से करीब 30 हजार शीशी प्रतिबंधित कोडीन कफ सिरप बरामद की है। बरामद माल की अंतरराष्ट्रीय बाजार में अनुमानित कीमत लगभग 63 लाख रुपये आंकी गई है।

 

ADCP और एसआईटी प्रभारी टी. सरवणन के नेतृत्व में की गई इस छापेमारी ने नशा तस्करों के शातिर दिमाग का पर्दाफाश किया है। तस्करों ने पुलिस और स्थानीय लोगों की आंखों में धूल झोंकने के लिए सूजाबाद स्थित एक ई-रिक्शा चार्जिंग स्टेशन को अपना ठिकाना बनाया था। बाहर से यह एक सामान्य ई-रिक्शा स्टैंड और चार्जिंग पॉइंट दिखता था, लेकिन इसके भीतर मौत का सामान (नशीली दवाएं) डंप किया जा रहा था। गोदाम में कोडीन कफ सिरप की पेटियों (कार्टून) का अंबार लगा हुआ था।

 

 

आजाद जायसवाल की गाड़ी ने खोला राज

 

इस बड़ी बरामदगी के पीछे पुलिस की पुरानी जांच और मुखबिर तंत्र की अहम भूमिका रही। पुलिस को मौके पर नशा तस्करी में लिप्त आजाद जायसवाल की गाड़ी खड़ी मिली थी। आजाद जायसवाल को पुलिस पहले ही गिरफ्तार कर चुकी है। उसकी गाड़ी को संदिग्ध हालत में खड़ा देख पुलिस का शक गहरा गया। जब एसआईटी ने गहनता से जांच की और गोदाम का ताला तोड़ा, तो वहां प्रतिबंधित दवाओं का जखीरा मिला। यह वही खेप बताई जा रही है जिसके तार पिछले दिनों रोहनिया स्थित एक जिम से बरामद नशीले पदार्थों से जुड़े हैं।

 

'झोले के व्यापार' का बहाना, अंदर नशे का खेल

 

जांच में सामने आया है कि जिस जगह से यह बरामदगी हुई है, वह मनोज कुमार यादव (निवासी औसानगंज) का स्टैंड है। करीब तीन महीने पहले राहुल नामक एक व्यक्ति ने इस जगह को किराए पर लिया था। राहुल ने मकान मालिक को बताया था कि वह यहां झोले का कारोबार करेगा और गोदाम में कच्चा माल रखेगा। हालांकि, स्थानीय लोगों का कहना है कि गोदाम का कमरा हमेशा बंद रहता था और वहां कोई झोले का काम होता नहीं दिखता था। पुलिस के अनुसार, मनोज कुख्यात तस्कर शुभम जायसवाल का बेहद करीबी बताया जा रहा है।

 

63 लाख का माल जब्त, आरोपी की तलाश तेज

 

बरामद की गई कोडीन युक्त कफ सिरप की प्रत्येक शीशी पर 211 रुपये एमआरपी अंकित है। कुल 30 हजार बोतलों की कीमत 63 लाख रुपये से अधिक है। पुलिस को चकमा देकर गोदाम का मालिक मनोज फिलहाल मौके से फरार है। पुलिस की कई टीमें उसकी गिरफ्तारी के लिए दबिश दे रही हैं।

 

एडीसिपी टी. सरवणन ने बताया कि गुप्ता सूचना के आधार पर कार्रवाई हुई है। बीते 19 नवंबर को रोहनिया में कोडीन कफ सिरप की तस्करी में आजाद जायसवाल नाम का व्यक्ति गिरफ्तार हुआ था। उसी के लिंक तलाशते हुए पुलिस ने यहां पर छापा मारा है। आरोपी फरार है, दो किरायेदार, जिन्होंने अपने आप को झोला कारखाना संचालक बताया है, उनसे पुछ्ताछ की जा रही है। पकड़ा गया माल हिमाचल प्रदेश में बना है। गाज़ियाबाद के रास्ते बनारस में आने की संभावना है।  

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